Sunday, February 5, 2012

अग्निपथ से गंजे खलनायकों की वापसी

अग्रिपथ की कामयाबी से संजय दत्त की खुशी छुपाए नहीं छुप रही। अपने नए अवतार में यह फिल्म विजय दीनानाथ चौहान से ज्यादा कांचा चीना की फिल्म लग रही है। ये फिल्म गंजे खलनायकों को लौटा लाई है, जो निर्दयी शेट्टी, महाबली बॉब क्रिस्टो, उसके बीच शाकाल के रूप में खूब चर्चित हुए। 
पिछले कुछ सालों से ऐसा लग रहा है कि बॉलीवुड के विलेन को षड्यंत्र रचने वाले नाते-रिश्तेदारों, भ्रष्ट पुलिस वालों और नेताओं तक सीमित कर दिया गया। लेकिन संजय दत्त के कांचा चीना के किरदार से यह सब बदलता हुआ दिखाई दे रहा है। संजय दत्त खुद महसूस करते हैं कि अब बेसिक की ओर लौट जाने का समय आ गया है। दत्त कहते हैं, हॉलीवुड में हीरो की ताकत का अंदाज इसी से लगाया जाता है कि उसने कितने ताकतवर विलेन पर जीत दर्ज की। जाहिर है विलेन का ताकतवर होना बहुत अहम् है। हीरो की हीरोगिरी तभी तो जमेगी, जब उसने किसी लार्जर देन लाइफ विलेन को मात दी हो।